Skip to main content

वाराणसी : गाजी मिया की शादी कल, धूम-धाम से निकलेगी बारात, दो साल बाद होगा मेले का आयोजन


वाराणसी। सैयद सालार मसूद गाजी की शादी रविवार 22 मई को सलारपुर स्थित मजार पर होगी। इसके पहले जैनपुरा से बारात उठकर गाजी मिया की मजार पर पहुंचेगी। कोरोना काल में दो साल तक इस आयोजन के स्थगित होने के बाद कल होने वाले आयोजन को लेकर अकीदतमंदों में काफी उत्साह देखने को मिल रहा है। मजार के खादिम के अनुसार कल दो साल बाद गाजी मिया का प्रसिद्द मेला लगाया जाएगा, जिसमे सभी धर्म के अकीदतमंद पहुंचेंगे और अपनी मन्नत मांगेंगे।
गाजी मिया की मजार के खादिम मुमताज शाह ने बताया कि परम्परा के अनुसार रविवार 22 मई को गाजी मिया की शादी होगी। इस आयोजन के उपलक्ष्य में मेला लगाया जाएगा जिसकी तैयारी ज़ोरों से चल रही है। उन्होंने बताया कि परम्परा के अनुरूप सभी चीजें अलई शहीद और गाजी मिया की मजार के बीच होगा और इस दौरान मेला भी आयोजित होगा।
मुमताज ने बताया कि गाजी मिया की बारात जैनपुरा काली चौमुहानी से निकलकर कमालपुरा, जमलाऊद्दीनपुरा, बाकरकुआं, कबड्डीदुआर होते हुए मजार पहुंचेगी जहां शादी संपन्न कराई जायेगी। वहीं मुमताज ने बताया कि पुलिस प्रशासन की चौकसी आज से ही शुरू हो गयी है। सुबह 6 बजे से ही एसओ साहब ने आकर सभी व्यवस्था चेक की है।

Comments

Followers

Popular posts from this blog

आवेश में चली गोली,बेरंग हुई होली

वाराणसी!मिर्जामुराद थाना क्षेत्र कछवा रोड स्थित,ठटरा गांव में आज सोमवार(होली) की सुबह एक शख्स ने लाइसेंसी पिस्टल से खुद को गोली मार ली। घटना के बाद मौके पर कोहराम मच गया जिसके बाद गंभीर स्थिति में उसे आनन फानन में अस्पताल पहुंचाया गया।  ठटरा गांव निवासी शिव प्रकाश सिंह उर्फ (छुन्ना सिंह)(40) ने अपने लाइसेंसी पिस्टल को कनपटी पर सटाकर खुद को गोली मार ली। बताया जा रहा है कि सुबह होली का त्योहार मनाने के लिए घर से दोस्तों के साथ गांव में निकले। होली खेलने एवं लोगों से मुलाकात करने के दौरान ही बच्चों का फोन आया तो घर पहुंचे। इस दौरान वे दोनों बेटों से नोकझोंक के दौरान आवेश में आकर खुद को गोली मारी।शिव प्रकाश सिंह के पिता का कहना था की बेटा नशा में था जिस वजह से घटना हो गई तो वही क्षेत्र के लोगो का कहना था की शिव प्रकाश व उनके बेटों शुभम और सत्यम से गाय को लेकर कुछ पारिवारिक कहा सुनी हुई जिस वजह से शिव प्रकाश(छुन्ना) आग बबूला हो गए और आहत होकर उन्होंने अपनी लाइसेंसी पिस्टल निकाली और कनपटी पर सटाकर गोली मार ली। जिससे अति गंभीर रूप से घायल हो गए। मौके पर मौजूद बच्चों एवं घायल के पिता माता दयाल

पुलिस बूथ में लगा ताला, ड्यूटी का निकाल रहे दिवाला

कछवां रोड । वाराणसी के मिर्जामुराद थाना क्षेत्र के कछवां रोड पुलिस बूथ में नहीं दिखते पुलिस कर्मी,दिखता सिर्फ ताला है?तीन जनपदों को जोड़ने वाला प्रमुख व व्यस्ततम यातायात वाला चौराहा कछवां रोड पुलिस बूथ पर दिखा लटकता चमचमाता ताला? आए दिन लगे जमा व चौराहे के अतिक्रमण से आने जाने वाले राहगीरों(नौकरी पेशा, व्यापारी, छात्र, स्वास्थ्य विभाग व अन्य) को परेशानी का सामना करना पड़ता है। यहां काफी संख्या में लोगो आते जाते रहते हैं इस मार्केट आवागमन व खरीदारी के लिए लोग दुरदराज से आते हैं। पुलिस बूथ होने के बाद भी पुलिस कर्मियों के गायब रहने के नाते लोगों में असुरक्षा की भावना रहती है। इस चौराहे से 200 मीटर निकट ही सब्जी मंडी है,दारू ठेका 500 मीटर पर ही है, कुछ दिन पहले यही बूथ सटे, बगल से ही बाइक चोरी हुई थी, व अक्सर शराबी नशे में लोगों से उलझ जाते हैं। आए दिन इस पुलिस चौकी के आसपास के गांव में चोरी की घटनाएं भी बढ़ती जा रही हैं, लेकिन पुलिस की लापरवाही के नाते पुलिस के प्रति विश्वास बहाल नहीं हो पा रहा है। क्षेत्र के लोगो ने पुलिस की दुरुस्त ड्यूटी, नियमित करने की मांग कर है। एस डी एम व अन्य अध

एक झटके में ग्रामीणों की दशकों पुरानी परंपरा हुई खत्म

मिर्ज़ामुराद में दशकों पुरानी परंपरा टूटीं, पारंपरिक स्थान पर नहीं विराज सके श्रीराम, लखन, हनुमान  पुलिस के फैसले से ग्रामीणों में नाराजगी-  मिर्ज़ामुराद। इस वर्ष विजयदशमी और दुर्गा पूजा के पावन अवसर पर मिर्ज़ामुराद के प्राचीन शिव मंदिर बंगलापर दशकों पुरानी परंपराओं पर अचानक विराम लग गया। राम, लक्ष्मण और हनुमान जी का पारंपरिक स्वरूप, जो हर वर्ष विजयदशमी के दिन बंगालचट्टी शिव मंदिर के नजदीक बने परम्परिक चबूतरे पर विराजमान होता था, इस बार अपने स्थान पर नहीं बैठाया जा सका। पुलिस के एक फैसले ने इस धार्मिक और सांस्कृतिक आयोजन को रोक दिया, जिससे स्थानीय लोगों में गहरा आक्रोश फैल गया है।  दुर्गा पूजा पंडाल विवाद से शुरू हुआ मामला-  प्राचीन शिव मंदिर के पास हर वर्ष दुर्गा पूजा का आयोजन होता था, जिसे लेकर क्षेत्र के लोग उत्साहित रहते थे। इस बार पूजा पंडाल लगाने के लिए दो पक्षो ने पुलिस से अनुमति मांगी, और यहीं से विवाद की शुरुआत हुई। पुलिस को यह बात आपत्तिजनक लगी कि एक ही पूजा पंडाल के लिए दो लोगों ने अनुमति मांगी। बिना किसी ठोस समाधान या ठोस बातचीत के, पुलिस ने इस स्थान को विवादित घोषित कर दिय